कर्क और कन्या अनुकूलता

वेदों का महत्वपूर्ण अंग है ज्योतिष। इसमें नौ ग्रह और बारह राशियां है। ये सभी 12 राशियां किसी ना किसी तत्व का प्रतिनिधित्व करती हैं। ये तत्व अग्नि, पृथ्वी, वायु और जल हैं। इसी शास्त्र के आधार पर हम किन्हीं भी दो मनुष्यों के बीच होने वाले रिश्ते की अनुकूलता का सटिक विवरण बता सकते हैं। वर्तमान दौर में वैदिक ज्योतिष विवाह, प्रेम और सेक्सुअल रिलेशन की अनुकूलता जानने का एकमात्र सर्वमान्य विकल्प है। फिलहाल हम कर्क और कन्या की अनुकूलता जानने का प्रयास करेंगे।

कर्क

22 Jun - 22 Jul

कन्या

24 Aug - 22 Sep
दृढ़
हाइली इमेजिनेटिव
लॉयल
पेट्रिओटिक
सिम्पेथेटिक, इंस्पायरिंग और ड्रामेटिक
सिस्टेमेटिक
अनालिटिकल
एक्सप्रेसिव
शांत
सीरियस

कर्क और कन्या लव कंपेटेबिलिटी

कन्या अपने कर्क पार्टनर को खुश रखने की कोशिश करते हैं और जब भी कर्क को जरूरत होती है उनके समर्थन के लिए तैयार होते हैं। वहीं कर्क अपनी इमेजनरी और मेमोरी पावर से अपने पार्टनर को अट्रेक्ट करने का काम करते हैं। आइए जानें कन्या और कर्क के लव रिलेशन के बारे में कुछ अधिक-

  • कर्क और कन्या प्रेम अनुकूलता दूर से एक अजीब और असामान्य जोड़ी की तरह लग सकती है, लेकिन उनके रिश्ते में सदैव एक आपसी तालमेल होता है।
  • कर्क और कन्या की यह जोड़ी सेफ्टी और कमिटमेंट के आधार पर आगे बढ़ने का काम करती है। इमोशनल कर्क और अनालिटिकल कन्या एक दूसरे के साथ पूरी तरह से मिक्स हो सकते हैं।
  • वे अपनी लाइफ में एक समान लक्ष्य साझा करते हैं और एक बार जब वे प्यार में पड़ जाते हैं, तो उनके पार्टनर की खुशी उनके लिए एकमात्र इंपोर्टेंट चीज होती है। यह मैच्योर कपल एक समान सपने देखते हैं, और जब वे एक साथ होते हैं, तो वे उन सपनों को सच करने की कोशिश भी करते हैं।
  • लव रिलेशन में कर्क और कन्या एक स्टेबल संबंधों का आनंद लेते हैं। यह रोमांटिक जोड़ी प्रोग्रेसिव और स्टेबल होने के साथ ही दिल से जुड़ी होती है।

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कर्क और कन्या संबंधों के फायदे

कर्क राशि के जातकों का प्रतिनिधित्व केकड़ा करता है और केकड़ा बहुत संवेदनशील और धीमी गति का होता है, वहीं कन्या तार्किक और धैर्यवान होते हैं। सामान्य गुणों की बात करें तो कर्क और कन्या राशि में कई समानताएं भी देखने को मिलती है। आइए जानें कर्क और कन्या संबंधों के फायदे।

  • किसी रिश्ते में कन्या और कर्क मजबूती से ट्रस्ट, लॉयल्टी और कमिटमेंट के साथ जुड़े होते हैं। कोई भी रिश्ता बिना कमिटमेंट के सक्सेस नहीं हो सकता है।
  • यह मैच्योर कपल अपने रिलेशन को किसी भी चीज से ज्यादा महत्व देते हैं। अपने पार्टनर की स्ट्रेंथ और वीकनेस को सुधारना और डवलप करना हमेशा उनकी फर्स्ट प्रायोरिटी होती है।
  • कर्क – कन्या की जोड़ी एक अच्छी तरह से मिक्स कॉकटेल की तरह हो सकती है। कर्क अपनी लाइफ में स्नेह के लिए तरसते हैं और कन्या उन पर खरा उतरने में कभी विफल नहीं होते हैं।
  • कर्क कन्या राशि की सलाह को पसंद करते हैं और उनके फैसलों में इंटरफेयर नहीं करते हैं। कर्क पाॅजिटिव रूप से कन्या की आलोचना करते हैं और स्पष्ट रूप से उनकी सराहना भी करते हैं। कन्या भी कर्क की बातों को अच्छे से समझते हैं और उन पर अमल भी करते हैं।

कर्क और कन्या संबंधों के नुकसान

हर मधुर और रोमांटिक रिश्ते में कुछ नमकीन पल होते हैं। इसी तरह कन्या और कर्क राशि को भी कई बार गलतफहमी का शिकार होना पड़ सकता है। किसी भी तरह की विपरीत स्थितियों से बचने के लिए कर्क और कन्या को पहले से ही पूरी तैयारी कर लेनी चाहिए।

  • कर्क और कन्या के रिश्तों में कन्या राशि के लोग बिना ज्यादा सोचे-विचारे क्रिटिकल हो जाते हैं। जिसके कारण कई बार कर्क के इमोशन्स को ठेस पहुंच सकती है।
  • इसके अलावा कर्क का लगातार मूड स्विंग भी कन्या राशि के लिए परेशानी का सबब बन सकता है। कर्क को समझ में आता है कि कन्या जातक जो कुछ भी करते हैं, वह उनकी भलाई के लिए होता है। अगर कर्क अपने क्रिटिकल लहजे में कुछ चेंज करें तो शायद कन्या उसे पाॅजिटिव ले सकते हैं।
  • कर्क राशि के लोगों एक अट्रेक्टिव पर्सनेलिटी के धनी होते हैं, वे किसी भी व्यक्ति के बारे में अपनी धारणा बनाने में जल्दबाजी कर सकते हैं। इससे कर्क और कन्या संबंधों में समस्या आ सकती है।
  • कर्क अतीत में रहने के लिए जाना जाता है और अपनी पिछली विफलताओं पर पछतावा करता रहता है। परफेक्शन और पाॅजिटिव कन्या राशि के लोगों के लिए इस तरह के नजरिए के साथ डील करना थोड़ा मुश्किल हो सकता है।

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