शुक्र ग्रह नवम भाव (Venus in nineth house) में हो तो मददगार होगा या नहीं…

शुक्र ग्रह नवम भाव (Venus in nineth house) में हो तो मददगार होगा या नहीं…

नौवें घर में अगर शुक्र विद्यमान है तो ये जातक को अन्य संस्कृतियों के प्रति आकर्षित करता है और जातक को इसके लिए अनुकूल और लचीला भी बनाता है। जब बात प्यार कि आती है तो ऐसे जातक बिलकुल भी असुरक्षित या अडिग नहीं होते क्योंकि इन्हें अपनी स्वतंत्रता से प्रेम होता है और ये एक व्यक्ति के तौर पर विकसित होना चाहते हैं।

अगर इनका साथी इन्हें किसी तरह सीमित रखने कि कोशिश करता है तो वे रिश्ता खत्म कर देंगे और किसी नए साथी की तलाश शुरू कर देंगे। वे किसी ऐसे व्यक्ति को चाहते हैं जो जीवन में साहसिक कार्य के लिए तैयार हो और उनके साथ दुनिया भर में भ्रमण करने से ना डरे।

इन लोगों कि एक और कमजोरी ये होती है कि ये सोचते हैं कि दूसरी तरफ ज्यादा हरियाली है या वो जिन्दगी बेहतर होगी और इसीलिए ये हमेशा उन चीजों कि आशा करते हैं जो संभव नहीं हैं और यह नहीं समझते कि उनके पास पहले से क्या मौजूद है। अपने स्वयं के बगीचे की देखभाल करना इनके लिए ज्यादा बेहतर होगा क्योंकि इनके पास पहले से ही वे सभी उपकरण मौजूद हैं जो इन्हें प्रसिद्ध और मूल्यवान बना सकते हैं।


खुद के सिवा किसी और कि जरूरत नहीं

ऐसे जातक जिनके नौवें घर में शुक्र मौजूद होता है, वे आसानी से सामाजिक, रोमांटिक और कलात्मक रूप से विचारशील होते हैं। वे दर्शनशास्त्र के लिए अपने उत्साह ,और सभी प्रकार के शोध और अकादमिक खोज के प्रति अपने विचार रखते हैं। इसके साथ-साथ साथ वे नए धर्मों और संस्कृतियों के बारे में जानने के लिए दूरदराज के स्थानों की यात्रा भी करते हैं।

ये लोग बहुत दार्शनिक और बुद्धिमान किस्म के लोग होते हैं जो सद्भाव और सुंदरता से भरी दुनिया कि कल्पना करते हैं। इन्हें कभी भी विभिन्न क्षेत्रों के लोगों से घुलने-मिलने में कोई समस्या नहीं आती है, लेकिन ये जीवन में एक ऐसा साथी चाहते हैं, जो प्यार के मामले में साहसिक हो और जरूरत पडऩे पर कुछ नया करने के लिए तैयार रहे।

नौवें भाव में शुक्र वाले व्यक्ति कभी भी अपनी जरूरतों के लिए किसी दूसरे पर निर्भर नहीं होंगे क्योंकि ये सदा अपनी आजादी को महत्व देते हैं। इन्हें ये विश्वास होना चाहिए कि ये अपने बलबूते विकसित हो रहे हैं और किसी भी तरह से सीमित रहना इन्हें पसंद नहीं।

वास्तव में ये जातक राशि चक्र के सबसे उन्मुक्त निवासियों में से एक हैं। ये अपने इरोजेन जोन में उत्कृष्ट होते हैं, जो कि उसके कूल्हे और जांघ हैं।

इनका आदर्श साथी जीवन जीने वाला होता है जो जानता है कि अच्छा समय कैसे बिताना है। चूंकि ये लोग किसी उपयुक्त प्रेम का सपना देखते हैं जो इन्हें ज्यादा संवेदना वाला बनाता है उन प्रेमियों के मुकाबले जो प्रेम मे लगाव और गहराई कि चाहते हैं।

इन लोगों को अपनी लगातार निराशा से सतर्क रहना चाहिए क्योंकि ये अभी भी उम्मीद करते हैं कि इनकी परिस्थितियों में सुधार आने से इनका जीवन बदल जाएगा। और इस वजह से ये लोग अपने जीवन का आनंद नहीं ले पाते, जो अच्छी बात नहीं है। हालांकि यह तथ्य कि वे हमेशा रोमांच की तलाश में रहते हैं, उनकी खुशी में इजाफा कर सकता है।

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खुले विचारों वाले और उदारवादी

जब बात होती है इनके प्यार करने या अपने जीवन जीने के तरीके के बारे में तो ये लोग धनु राशि के जातकों के करीब पाए जाते हैं क्योंकि ये दोनों ही खुले दिमाग के होते हैं और जीवन में कुछ अलग करने की चाह रखते हैं।

धनुषधारी हमेशा इन लोगों के व्यवहार को प्रभावित कर सकता है, भले ही इनका शुक्र किसी भी राशि में हो, इसलिए ये बहुत जल्द उन लोगों से प्रेम करने लगते हैं जो लगातार इनके जीवन में नयापन लाते हैं।

नौवें घर में शुक्र वाले जातक नई चीजों को आजमाने और हर तरह से विविधता की सराहना करने मे जुनूनी होते हैं।

ये लोग हर जगह से ज्ञान एकत्र कर सकते हैं और ऐसा करते हुए आनंदित होते हैं क्योंकि इन्हें जितना संभव हो उतना सीखना अच्छा लगता है। नतीजतन, ये बेहतरीन यात्री होते हैं जो नई संस्कृतियों और भाषाओं का अध्ययन करने का आनंद लेते हैं।

ये जल्दी से दोस्त बना लेते हैं और यह जानने का आनंद लेते हैं कि दूसरों ने अपने दम पर क्या किया है। यकीन मानिए अगर किसी कारणवश ये भ्रमण करने में असमर्थ होते हैं तो ये नए स्थानों की कल्पना कर और किताबों का अध्ययन कर अधिक जानकारी जुटाते हैं।

ये लोग बहुत महत्वाकांक्षी होते हैं और हमेशा नए विचारों को स्वीकारने के लिए तैयार रहते हैं। इसके साथ ही इन्हें चीजों को बेहतर बनाने के लिए समझौता करने से भी कोई परेशानी नहीं होती। ये लोग एक ही समय में जीवन के शिक्षक, लोगों के लिए अच्छे श्रोता और बुद्धिमान-शब्द बोलने वाले होते हैं।

अगर नौवें घर में शुक्र नकारात्मक हो तो ऐसे जातक अपनी शिक्षा पूर्ण नहीं कर पाते परन्तु इन्होंने जो कुछ जानकारी अपने स्कूल में हासिल की है उससे ये बहुत कुछ सीखते हैं। ऐसे लोगों के लिए कागज की डिग्री से ज्यादा ज्ञान का होना मायने रखता है। और यही सोच इन लोगों को इनके व्यावसायिक जीवन मे बहुत लाभ पहुंचाती है, साथ ही जब ये अपनी जैसी सोच और पसंद वाले लोगों से मिलते हैं तो बड़ी आसानी से इनके साथ घुल मिल जाते हैं। ये लोग जहां भी जाते हैं बहुत ही अच्छे दोस्त बनाते हैं, इनके लिए अच्छे दोस्त बनाना इनके ग्रेजुएशन डिग्री या अच्छे अंकों से ज्यादा महत्वपूर्ण होता है।

ये लोग ऐसे हैं जो हर तरह के समारोह का आनंद लेते हैं और शादियों में शामिल होते हैं क्योंकि ये कला प्रेमी और धर्म के बारे में बहुत जिज्ञासु होते हैं। यात्रा करना ही इनका एकमात्र जुनून नहीं होता अलबत्ता पढऩा और लिखना भी इन्हे बहुत पसंद होता है।

नौवें भाव में शुक्र के जातक यह चुनते हैं कि उन्हें किस मुल्क में रहना है और किस समुदाय से सीखना है, यही नहीं ये उस देश के सभी पहलुओं के विशेषज्ञ बन जाएंगे।

ये हमेशा जीवन में कुछ अलग होने की तमन्ना रखते हैं और इसके लिए ये सिर्फ सपने या बातें ही नहीं करते बल्कि कर्म भी करते हैं। अक्सर ये लोग प्रेम रिश्ते से बाहर आ जाते हैं, अगर इन्हें ये महसूस हो कि रिश्ते से ये कुछ नया सीख नहीं पा रहे हैं। ये जातक कभी भी किसी कार्यक्रम यानी कि दिन तारीख और समय के मुताबिक चलन नहीं पाते हैं और इनकी अपने अध्यापकों या उन लोगों के प्रति जिन्होंने कभी इनका नेतृत्व किया था, के प्रति आकर्षित होना कमजोरी होती है।

जो लोग इनके साथ अपनी रुचियों को साझा करते हैं, हमेशा इन्हें भाते हैं, इसलिए आप ये कभी नहीं देखेंगे कि नौवें घर में शुक्र जातकों को किसी ऐसे व्यक्ति से प्रेम हो जाए जो इनकी तरह मौज-मस्ती या यात्रा करना पसंद नहीं करता है।


उत्साह और जिज्ञासा

नौवें घर में शुक्र वाले जातक बहुत जिज्ञासा और खुले विचारों वाले होते हैं और वे अपने ज्ञान का विस्तार करने और नई भाषाओं या संस्कृतियों को सीखने का आनंद लेते हैं। उनकी कुंडली में शुक्र चाहे कहीं भी हो, वे हमेशा धनु राशि के प्रभाव को महसूस करेंगे।

ये लोग उन लोगों से आसानी से प्रेम करने लगते हैं जिन्हें इनकी ही तरह रोमांच और अपने साथी के साथ नई जगहों की यात्रा करना पसंद होता है।
ये लोग किसी भी पाठ्यक्रम में हिस्सा ले सकते हैं और किसी भी विषय के बारे में तब तक सीख सकते हैं जब तक उसमें कुछ सीखने लायक हो। ये तब सबसे ज्यादा खुश होते हैं जब अच्छा वक्त बिताते हैं और ये मानते हैं कि दूसरे लोग भी इनकी तरह शानदार समय बिता रहे हैं।

ऐसा प्रतीत होता है कि ये लोग यात्रा करने और नई संस्कृतियों के बारे में जानने के लिए ही पैदा हुए हैं क्योंकि ये लोग आसानी से दोस्त बना लेते हैं और जीवन के बारे में बड़े सवाल पूछने का आनंद लेते हैं।

ये सामान्य बात है कि ये जातक अन्य लोगों के जीवन के बारे में सुनने के बाद उस पर गहराई से विचार करते हैं। अगर ये लोग शारीरिक रूप से कहीं ना जा पाएं तो, आप शर्त लगा सकते हैं कि ये मानसिक रूप से उस जगह पर होंगे और बहुत सारी किताबें पढ़कर उस जगह के बारे में जानकारी करेंगे।

नौवें घर में शुक्र वाले जातक उत्साही और नए विचारों के लिए खुले होते हैं, ये दुनिया को बदलने की कोशिश करने और दूसरों की बात सुनने का आनंद लेते हैं, जिससे ये आदर्श वार्तालाप का भी हिस्सा बनते हैं।

ये लोग कभी अपना समय किसी ऐसे व्यक्ति के साथ बर्बाद नहीं करेंगे जो शिक्षित नहीं हैं या जो यात्रा करना पसंद नहीं करते हैं क्योंकि ये अपने ज्ञान की प्यास को बुझाना चाहते हैं।

इन्हें रिश्तों में प्रतिबद्ध होना मुश्किल होता हैं क्योंकि इन्हें आम दिनचर्या पागल कर देती है। अगर कोई इनकी तरह इच्छाएं रखता हैं तो वो इनका दिल क्षणों में जीत सकता है।

चूंकि ये जातक जिज्ञासु यात्री भी है, जो अध्ययन करना और दर्शनशास्त्र के बारे में जानना चाहता है, इसलिए ऐसा लगता है जैसे धनु राशि कि विशेषताओं को उनके चरित्र में हर जगह देखा जा सकता है। ये हमेशा व्यक्ति के दिल और आत्मा के प्रति आकर्षित होंगे ना कि उनके शरीर या सामाजिक प्रतिष्ठा के प्रति।


नौवें घर में शुक्र का क्या अर्थ है?

नौवें घर में शुक्र के जातक प्यार में रहना पसंद करते हैं लेकिन ये अभी भी अपनी स्वतंत्रता को महत्व देते हैं। प्रेम, सुख, धन, रोमांस, जुनून, वित्त, लाभ और विलासिता सभी शुक्र के प्रतीक हैं। अगर नवम भाव में शुक्र कि मौजूदगी है तो आप प्रेम में शारीरिक और चंचल पहलुओं का आनंद लेते हैं।


शुक्र किस भाव में बुरा माना जाता है?

शुक्र ग्रह के शनि, बुध और केतु के साथ अच्छे संबंध रहते हैं लेकिन सूर्य, चंद्रमा और राहु इसके प्रतिद्वंद्वी हैं। शुक्र के लिए दूसरे, तीसरे, चौथे, सातवें और बारहवें भाव उत्कृष्ट होते हैं, लेकिन पहले, छठे और नौवें भाव शुक्र के लिए बुरे माने जाते हैं।


समापन

ज्योतिष अनुसार नौवें घर में शुक्र यह सुझाव देता है कि आप ये सुनिश्चित करें कि अपने लिए किसी आदर्श व्यक्ति की उपेक्षा नहीं करेंगे या उसे कम नहीं आंकेंगे। यदि आप किसी ऐसे व्यक्ति से मिलते हैं जो आपको बाहर जाने और दुनिया भ्रमण के लिए प्रेरित करता है, तो आप अपनी पुरानी आदतों या सोच में न पड़ें कि ये रिश्ता भी ज्यादा नहीं चलेगा।

अपने साथी के प्रोत्साहन और समर्थन के माध्यम से आप एक स्वस्थ रिश्ते को विकसित कर सकेंगे। अपनी आंखें और दिमाग हमेशा खुला रखें और ये मानें कि आप किसी ऐसे व्यक्ति से मिल सकते हैं जो आपकी रुचियों को साझा करता है। आप रोमांचित और परिपूर्ण हो जाएंगे यदि आपको कोई ऐसा साथी मिल जाए जो आपकी तारीफ करे बजाय जो आपको पूर्ण करे।

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